अंग फूले न समाना, अंग मुसैकुराना, अंग में अंग समाना, अंग-अंग फूले न समाना, अंग मुसकुराना
बहुत प्रसन्न होना, अंग-अंग से प्रसन्नता प्रकट होना।
लज्जित होहिं पुरबघू पूछ, अंग-अंग मुसकात (सू. सा.-सूर, 487); अंगद तो अंग-अंग न फूलै। पौन के पुत्र कह्यो अति भूले (केशव. (2) केशव, 412); वह मनोभावों को छिपाना चाहती थी कि रमा उसे ओछी न समझे; लेकिन एक-एक अंग खिला जाता था (गबन-प्रेमचन्द, 60)।
अंग बनना, अंग होना
किसी व्यक्ति या वस्तु का अत्यन्त महत्त्वपूर्ण हो जाना, अभिन्न अंग बन जाना
संगीत आज मेरे जीवन का अंग बन गया है; संदीप हमारे परिवार का ही एक अंग है, उसका अहित हो, यह मैं नहीं देख सकता।
अंग भरना
जवानी के लक्षण दिखाई देना
कांता के अंग भरने लगे, चेहरे पर एक लावण्य आ गया।
अंग भरना
पुष्ट होना
पहले तो कमल एकदम दुबला था, अब जर अंग भर आया है।
अंग भरना
गोद में लेना
मुख के रेनु झारि अंचल सौं जसुमति अंग भरै (सूर.-ब्र. सू. को.)।