logo
भारतवाणी
bharatavani  
logo
Knowledge through Indian Languages
Bharatavani

Pramanik Vrihad Bundeli Shabd Kosh (Bundeli)

अकुताना
क्रि. अ.
ऊबना, बेचैन होना, जल्दी करना।

अकुरावो
क्रि.
अंकुर आना।

अकुरिया
सं. स्त्री.
हल के नीचे की लकड़ी या टेढ़ा भाग जिसमें फाल लगा रहता है।

अकुरियाँ
वि.
गट्ठे।

अकुलाबौ
क्रि. अ.
आकुल होना, घबराना, जल्दी- जल्दी मचाना, ऊबना, उकताना।

अकुलाहट
सं. स्त्री.
आकुल या विकल होने की अवस्था या भाव।

अकूत
वि.
बहुत, अनुमान से परे, अपार, अधिक।

अकूती
वि.
अनमोल।

अकूतो
वि.
बेहिसाब।

अकेला
वि.
एकाकी, निस्संग साथी विहीन, अकेला, भूनने की क्रिया।


logo